पटना: बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री और पूर्व राज्यसभा सांसद श्री सुशील कुमार मोदी जी के निधन की दुखद सूचना ने पूरे राज्य को मर्माहत कर दिया है। यह खबर बिहार भाजपा के लिए एक अपूर्णीय क्षति है। उनके जाने से सभी के दिलों में अत्यंत पीड़ा और शोक का माहौल है।
भाजपा नेत्री संगीता सिंह ने अपने शोक संदेश में कहा, “मुझे उनसे कभी मुलाकात का अवसर नहीं मिला, लेकिन एक समस्या के संबंध में मैंने उनसे व्हाट्सप्प के माध्यम से संपर्क किया। हैरानी की बात यह थी कि एक घंटे के भीतर ही उनका कॉल मेरे पास आया। मुझे विश्वास नहीं हो रहा था कि प्रदेश के उपमुख्यमंत्री ने मुझे खुद कॉल किया। उन्होंने धैर्यपूर्वक मेरी बातों को सुना और मुझे समस्या को ईमेल करने के लिए कहा। दो दिन बाद फिर से उनका कॉल आया और उन्होंने मुझे बताया कि संबंधित अधिकारी को मेरे आवेदन के बारे में जानकारी दे दी गई है। इस घटना ने मेरे मन में उनके प्रति गहरी छवि और सम्मान छोड़ दिया।”
श्री सुशील कुमार मोदी जी के काम करने की शैली और शालीनता की जितनी भी प्रशंसा की जाए, कम होगी। उन्होंने अपने पूरे जीवन को बिहार प्रदेश के विकास के लिए समर्पित कर दिया। उनके नेतृत्व और योगदान को हमेशा याद रखा जाएगा।
बिहार भाजपा को उनकी कमी हमेशा खलेगी। प्रभु से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्मा को अपने श्री चरणों में स्थान दें और उनके परिजनों को इस पीड़ा को सहन करने की शक्ति प्रदान करें।
सुशील कुमार मोदी जी का निधन बिहार के राजनीतिक जीवन को बड़ी क्षति है। उन्होंने सिद्धांत की राजनीति की, राजनीति के लिए सिद्धांत नहीं छोड़ा। बिहार के एक-एक कार्यकर्ताओ को नजदीक से पहचानने वाले नेता आदरणीय सुशील कुमार मोदी जी के असामयिक निधन से पूरा बिहार स्तब्ध है। उनके निधन पर सारण के जिला प्रभारी एवं गोपालगंज भाजपा के पूर्व जिलाध्यक्ष अनूप श्रीवास्तव ने अपनी गहरी शोक व्यक्त किया है। बिहार में भाजपा के उत्थान और उसकी सफलताओं के पीछे उनका अमूल्य योगदान रहा है। अनूप श्रीवास्तव ने बताया कि बिहार को नई दिशा देने के लिए उन्होंने जीवन भर संघर्ष किया और बिहार को जंगल राज से मुक्ति दिलाई। यह विश्वास नहीं होता कि सुशील जी इतना जल्दी हमसबों को छोड़ कर चले गये। परन्तु मृत्यु ही सत्य है, इसको कोई इनकार नही कर सकता। काजल की कोठरी से वेदाग बाहर निकलना “कर्म पथ के अथक राही” सुशील जी जैसे नेता से ही सम्भव होगा। पिछले तीन दशकों से भी अधिक समय तक उनके नेतृत्व में कार्य करने का अवसर पाकर मैं अपने आपको भी सौभाग्यशाली मानता हूँ। सुशील जी भाजपा की पुरानी पीढ़ी के क़द्दावर नेता थे और बिहार में सत्ता परिवर्तन के बाद उपमुख्यमंत्री पद के दायित्व पर रहते हुए विकास की गाथा लिखने में सुशील मोदी जी का योगदान कभी भुलाया नही जा सकता। सुशील जी का राजनीतिक जीवन गरीबों व पिछड़ों के हितों के लिए समर्पित रही। उनके निधन से बिहार की राजनीति में जो शून्यता उभरी है, उसे लंबे समय तक भरा नहीं जा सकता। पिछले महीने ही तो उन्होंने अपनी बीमारी की सूचना X पर सार्वजनिक किया था। किसको क्या पता था सुशील जी इतनी जल्दी इस दुनिया को छोड़ बहुत दूर चले जायेंगे जँहा से कोई वापस नही आता। सुशील जी जैसे कर्मठ योद्धा जीवन मृत्यु की जंग इतनी आसानी से और इतनी जल्दी हार जायेंगे यह बात कार्यकर्ताओं को पच नही रहा है। उनके साथ व्यक्तिगत संबंध था और उनके निधन से मैं मर्माहत हूं। प्रभु श्रीराम जी से प्रार्थना करता हूँ उनकी आत्मा को अपने श्रीचरणों मे स्थान प्रदान करते हुवे जीवन मृत्यु के चक्र से मुक्ति प्रदान करें एवम् उनके परिजनों को इस दुःख को सहन करने की शक्ति दें।